09 October 2025
वडोदरा में महिसागर नदी पर पुल टूटा, 9 की मौत, 8 को बचाया गया; हादसे में प्रशासन पर लापरवाही के आरोप

वडोदरा में महिसागर नदी पर पुल टूटा, 9 की मौत, 8 को बचाया गया; हादसे में प्रशासन पर लापरवाही के आरोप

गुजरात के वडोदरा में बुधवार सुबह महिसागर नदी पर बना 45 साल पुराना पुल अचानक टूट गया, जिससे बड़ा हादसा हो गया। हादसे के समय पुल पर से गुजर रहीं दो ट्रक, दो कार और एक रिक्शा नदी में गिर गए। एक टैंकर पुल के टूटे सिरे पर फंस गया। इस हादसे में 9 लोगों की मौत हो गई, जबकि स्थानीय लोगों ने 8 लोगों को रेस्क्यू कर लिया।

हादसे की जानकारी मिलते ही फायर ब्रिगेड की तीन टीमें मौके पर पहुंचीं और राहत कार्य में जुट गईं। पुल टूटने से भरूच, सूरत, नवसारी, तापी और वलसाड जैसे दक्षिण गुजरात के शहरों से सौराष्ट्र की ओर जाने वाले रास्ते पर असर पड़ेगा। अब इन शहरों से सौराष्ट्र पहुंचने के लिए अहमदाबाद होते हुए लंबा रास्ता तय करना होगा।

स्थानीय बोले- प्रशासन ने नहीं की मदद

हादसे के तुरंत बाद स्थानीय लोग मौके पर पहुंचे और अपनी मदद से बचाव कार्य शुरू किया। एक स्थानीय युवक ने बताया कि वे सुबह से ही रेस्क्यू ऑपरेशन चला रहे थे और 9 शव बरामद कर चुके हैं, जिनमें एक बच्चे का शव भी शामिल है, जबकि एक बच्चा अभी भी लापता है। युवक का कहना था कि इस दौरान प्रशासन की ओर से कोई मदद नहीं मिली।

पुल की मरम्मत नहीं होने से हुआ हादसा

हादसे में घायल 8 लोगों में से 6 को पादरा अस्पताल और 2 को वडोदरा के सयाजी अस्पताल में भर्ती कराया गया है। घटना की खबर मिलते ही बड़ी संख्या में लोग मौके पर पहुंच गए और प्रशासन के खिलाफ गुस्सा जाहिर किया। स्थानीय लोगों का आरोप है कि उन्होंने कई बार 45 साल पुराने इस पुल की मरम्मत के लिए प्रशासन को सूचित किया था, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं होने के कारण यह हादसा हुआ, और इसके लिए प्रशासन पूरी तरह जिम्मेदार है।

प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया हादसे का मंजर

राजूभाई अठिया ने बताया कि हादसे के वक्त वह अपने दोस्त के साथ द्वारका से अंकलेश्वर जा रहे थे। पुल पर दो-तीन ट्रक थे और अचानक पुल ढह गया। उनकी गाड़ी नदी में गिर गई, लेकिन वे किसी तरह पानी से बाहर निकलकर एक गाड़ी के ऊपर चढ़ गए। उनका दोस्त अब भी लापता है। कुछ देर बाद लोग नाव लेकर पहुंचे और उन्हें बचाया गया। उन्होंने बताया कि हादसे के वक्त पुल पर तीन गाड़ियां थीं, जिनमें दो पिकअप, एक ईको कार और एक रिक्शा शामिल था, और हादसा इतना अचानक हुआ कि संभलने का मौका नहीं मिला।

बाइक पंक्चर होने से बची जान

इस हादसे में महेशभाई परमार (23) बाल-बाल बच गए। उन्होंने बताया कि वह अपने दोस्त के साथ काम पर जा रहे थे, तभी उनकी बाइक पंक्चर हो गई। पंक्चर ठीक करवाने के बाद जब वह पुल से गुजर रहे थे, तभी पुल टूट गया। वे कुछ गाड़ियों के पीछे थे, जिससे उनकी जान बच गई। उन्होंने बताया कि जैसे ही पुल टूटा, एक इको कार, एक पिकअप और एक ट्रक नदी में गिर गए, और नीचे चीख-पुकार मच गई, लेकिन पुल पर मौजूद लोग कोई मदद नहीं कर पाए।